यूनिक हरियाणा 4 मई -हरियाणा में लॉकडाऊन के तीसरे चरण में जहां कुछ क्षेत्रों में रियायतें दी जा रही हैं, वहीं धारा 144 के तहत पांच या इससे अधिक लोगों के एक साथ सार्वजनिक स्थानों पर एकत्रित होने पर प्रतिबंध होगा।
हरियाणा में आज से यानी सोमवार से शाम 7 बजे से सुबह 7 बजे तक कर्फ्यू रहेगा, जबकि बाकी अवधि यानी दिन में आवागमन व कार्य होगा। केंद्रीय गृह मंत्रालय प्रत्येक सप्ताह जिलों की समीक्षा करेगा। लॉकडाऊन का पालन करने में किसी भी तरह की ढिलाई बरतने और क्षेत्र को रेड-जोन घोषित कर देने पर तत्काल उस इलाके से आवश्यक वस्तुओं की सप्लाई को छोड़़कऱ कई प्रकार की अनुमति बंद हो जाएंगी।
हरियाणा के मुख्य सचिव केशनी आनंद अरोड़ा ने इस बारे में निर्देश जारी किए हैं। हरियाणा से जिन श्रमिक-ट्रेनों में प्रवासी मजदूरों को भेजा जाएगा, उनमें सोशल डिस्टेंसिंग को ध्यान में रखते हुए एक ट्रेन में 1200 मजदूर ही बैठेंगे। ट्रेन के रवाना होने से एक दिन पहले उनको स्टेशन के नजदीक रखा जाएगा, ताकि उनकी स्क्रीनिंग की जा सके।
गाड़ी में बैठने वाले लोगों के लिए भी मॉस्क व सोशल डिस्टेंसिंग रखना आवश्यक है। सार्वजनिक स्थान पर थूकने वाले लोगों पर जुर्माना किया जा सकता है। राज्य से बाहर लंबी दूरी तय कर आए ट्रक ड्राईवरों की पुलिस नाके पर स्वास्थ्य विभाग की टीम की सहायता से स्क्रीनिंग करवाई जाएगी।देशभर में फंसे हरियाणा के लोगों और हरियाणा में फंसे अन्य राज्यों के लोगों की आवाजाही सुनिश्चित करने के लिए हरियाणा सरकार ने मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) जारी की है। एक सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि हरियाणा आने और यहां से बाहर जाने के इच्छुक लोगों को ई-दिशा पोर्टल पर अपना पंजीकरण करवाना होगा। यहां से आने-जाने वाले प्रत्येक व्यक्ति का रिकार्ड रखा जाएगा। लोगों को भेजने वाले राज्य यह सुनिश्चित करेंगे कि जो लोग हरियाणा में आने के इच्छुक हैं, उनकी चिकित्सा जांच की जाए और केवल उन्हें ही अनुमति दी जाए, जिनमें कोविड -19 के लक्षण नहीं हैं।
इसी तरह हरियाणा से बाहर भेजे जाने वाले सभी व्यक्तियों की भी उचित रूप से जांच की जाएगी। हरियाणा आने और बाहर जाने वाले सभी लोगों के पास चिकित्सा अधिकारी का प्रमाण पत्र होना चाहिए कि उनकी जांच की गई है और उनमें कोरोना के लक्षण नहीं हैं।
अपने निजी वाहनों से यात्रा करने वाले लोगों को भी पोर्टल पर पंजीकरण करवाना होगा और अपनी यात्रा शुरू करने से पहले दी गई अनुमति को डाउनलोड करना होगा। उन्हें मेडिकल स्क्रीनिंग के दौरान इस प्रारूप को दिखाना होगा। ऐसे लोग संबंधित जिलों से परमिट के लिए आवेदन करेंगे और उन्हें स्पष्ट रूप से अपने गंतव्य, यात्रा की तारीख और मार्ग का उल्लेख करना होगा। अपने वाहनों को सेनिटाइज करना होगा और अपने गंतव्य पर पहुंच कर उन्हें कम से कम 14 दिनों के लिए घर या संस्थागत क्वारंटाइन के लिए कहा जाएगा। ऐसे लोगों की रोजाना स्वास्थ्य की जांच की जाएगी।
रेल में यात्रा के दौरान यात्री को परमिट दिखाना होगा। अंतरराज्यीय आवाजाही के दौरान लोगों को भेजने और प्राप्त करने वाले राज्यों के नोडल अधिकारी आपस में परस्पर तालमेल रखेंगे। बस से यात्रा करने वाले लोगों के मामले में नोडल अधिकारी बसों की आवाजाही से पहले अन्य राज्यों के नोडल अधिकारियों को प्रोफार्मा भेजेंगे, ताकि लोगों के स्वास्थ्य की स्थिति और यात्रा के इतिहास के बारे में विस्तृत जानकारी प्राप्त हो सके। संबंधित जिला उपायुक्त हरियाणा में और हरियाणा से बाहर जाने वाले लोगों से संबंधित समस्त गतिविधियों के लिए प्रभारी होंगे।
इसी प्रकार, पुलिस अधीक्षक/ वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक जिले में प्रवेश करने वाले सभी व्यक्तियों की निगरानी करेंगे। वे यह भी सुनिश्चित करेंगे कि जिला में अपने निजी वाहन से प्रवेश करने वाला व्यक्ति चिकित्सा जांच के लिए निर्धारित स्थल पर जाए। मुख्य चिकित्सा अधिकारी सुनिश्चित करेगा कि प्रत्येक आने वाले और बाहर जाने वाले व्यक्ति की चिकित्सा जांच हो। राज्य में आने वाले हर व्यक्ति की चिकित्सा जांच की जाएगी चाहे पहले उसकी जाचं हुई हो या न हुई हो। हर आने-वाले व्यक्ति को उसके मोबाइल पर अरोग्य सेतु मोबाइल एप डाउनलोड करने के उपरांत ही आगे जाने दिया जाएगा।
हरियाणा में आने वाले सभी व्यक्ति न केवल पंजीकरण करने के लिए बाध्य होंगे, बल्कि उन्हें पंजीकरण की डाउनलोड की गई प्रति या स्मार्ट फोन पर या सॉफ्टकॉपी दिखानी होगी। राज्य में आने या बाहर जाने के इच्छुक हर व्यक्ति को अपनी पहचान के लिए पहचान पत्र या कोई अन्य दस्तावेज दिखाना होगा।